सतों ने कहा कि यह यात्रा न केवल भक्ति का माध्यम बनेगी, बल्कि सभी संतों को एकजुट कर श्रीकृष्ण जन्मभूमि मुक्ति आंदोलन को नई ऊर्जा देगी। यात्रा को लेकर तैयारियां शुरू कर दी गईं हैं।

मथुरा के वृंदावन में श्रीकृष्ण जन्मभूमि संघर्ष न्यास की एक बैठक बुधवार को कालिंदी विहार स्थित श्री प्रेमधाम आश्रम में हुई। बैठक में संतों ने कहा कि भगवान श्रीकृष्ण की लीलाएं आज भी ब्रज चौरासी कोस में जीवित हैं और उसी आध्यात्मिक परंपरा को जागृत करते हुए श्रीकृष्ण जन्मभूमि की मुक्ति के लिए ब्रज चौरासी कोस यात्रा का आयोजन किया जाएगा। इस महायात्रा का नेतृत्व पंडित दिनेश फलाहारी द्वारा किया जाएगा।
उन्होंने संकल्प लिया कि इस यात्रा के माध्यम से समस्त संत समाज, तपस्वियों एवं विरक्त साधुओं का आशीर्वाद लेकर, संकीर्तन और भक्ति के माध्यम से श्रीकृष्ण जन्मभूमि को मुक्त कराने का प्रयास किया जाएगा। महंत श्रीचंद दास महाराज ने कहा कि यह यात्रा न केवल भक्ति का माध्यम बनेगी, बल्कि सभी संतों को एकजुट कर श्रीकृष्ण जन्मभूमि मुक्ति आंदोलन को नई ऊर्जा देगी।
दिव्य शक्ति अखाड़ा के ब्रजमंडल अध्यक्ष पं. बिहारी लाल वशिष्ठ ने इस यात्रा को भगवान की लीला स्थली की पुनः प्रतिष्ठा और जागरण का माध्यम बताया। महामंडलेश्वर रामदास महाराज ने कहा कि ब्रज की धरती तप और भक्ति का स्थल है। जो भी भक्त इस यात्रा में भाग लेंगे, वे पुण्य के भागी बनेंगे।
इस दौरान आचार्य अंकित कृष्णा, आचार्य राधावल्लभ शास्त्री, ब्रज प्रदेश महामंत्री राजेश पाठक, गोलू पांडे, राकेश सिंह, सुभाष ठाकुर, धनंजय मिश्रा, प्रेमदास महाराज, प्रिंस दुबे सहित अन्य लोग मौजूद थे।