सनातन धर्म में ज्येष्ठ महीने को बेहद महत्वपूर्ण माना जाता है। ज्येष्ठ महीने में पड़ने वाले हर मंगलवार को पवन पुत्र हनुमान के दर्शन का विधान है। कहा जाता है इस दिन दर्शन पूजन करने से जीवन में चल रही तमाम तरह की परेशानियों से मुक्ति मिलती है। वहीं, ज्येष्ठ माह के आखिरी मंगलवार के दिन अद्भुत संयोग भी है क्योंकि इस दिन ज्येष्ठ माह की पूर्णिमा तिथि भी है और ज्येष्ठ का बड़ा मंगल भी है। ऐसी स्थिति में मंदिर और मूर्तियों की नगरी अयोध्या में लाखों की संख्या में श्रद्धालु पहुंचे हैं। श्रद्धालु एक साथ दो पुण्य अर्जित कर रहे हैं। एक तरफ जहां हजारों की संख्या में श्रद्धालु सरयू में स्नान कर रहे हैं तो दूसरी तरफ श्रद्धालु प्रसिद्ध सिद्धपीठ हनुमानगढ़ी में लंबी-लंबी कतारों में लगकर पवन पुत्र के दर्शन पूजन कर भाव विभोर हो रहे हैं। आज के दिन का महत्व धार्मिक दृष्टि से विशेष होता है क्योंकि एक साथ दो पर्व आज हैं। ऐसी स्थिति में आखिरी बड़े मंगलवार के मौके पर अयोध्या में श्रद्धालुओं का जनसैलाब उमड़ पड़ा है। श्रद्धालु भोर से ही स्नान कर मठ मंदिरों में दर्शन पूजन कर रहे हैं। हनुमानगढ़ी के गद्दीनशीन महंत प्रेम दास ने बताया कि ज्येष्ठ माह में पड़ने वाले मंगलवार का विशेष महत्व होता है लेकिन आज का महत्व और भी विशेष है क्योंकि आज पूर्णिमा तिथि भी है और आखिरी मंगलवार भी है। आज के दिन पवित्र नदियों में स्नान और हनुमान जी के दर्शन का पुण्य अधिक मिलता है। लाखों की संख्या में श्रद्धालुओं ने दर्शन पूजन किया है और लगातार भीड़ आ रही है। लंबी-लंबी लाइन लगी हुई है। भीषण गर्मी की तपिश पर आस्था भारी पड़ रही है।

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