ये भूमि वह है, जहां गीता प्रेस के माध्यम से श्रीमद्भगवत गीता छपकर दुनियाभर में पहुंचती है और लोगों को संस्कारवान बनाती है। ऐसे में रामराज्य की शुरुआत भी यहीं से होनी चाहिए। इसके लिए हम सभी को अपने भीतर संस्कारों को लाना होगा। यह कहना है अंतरराष्ट्रीय आध्यात्मिक वक्ता बीके शिवानी का था। वह बुधवार को सैयद मोदी रेलवे स्टेडियम में आयोजित ‘असीम शांति एवं खुशियों का पासवर्ड’ विषय पर आध्यात्मिक वक्तव्य दे रही थीं। उन्होंने कहा कि संस्कार परिवर्तन से ही होगा संसार का परिवर्तन और धरा पर रामराज्य की संकल्पना साकार हो सकेगी। कहा कि रामराज्य लाना है तो देवी-देवीताओं के संस्कार अपने अंदर लाना होगा। दैवीय संस्कार से कलयुग में सतयुगी संसार की संरचना होगी। असीम सुख, शांति और प्यार के सागर परमपिता परमात्मा के हम बच्चों को संस्कार देने के लिए प्रार्थना करते हैं। कहा कि हम दूसरों को सुख और शांति देने वाले और सबका कल्याण करने वाले बनें। कहा कि हमें हर हालात में खुश रहना चाहिए।

कार्यक्रम में पहुंची हजारों की भीड़
बीके शिवानी के कार्यक्रम के लिए शाम चार बजे से ही लोग सैयद मोदी स्टेडियम पहुंचने लगे। छह बजते-बजते सभी कुर्सिंया भर गईं। कार्यक्रम के अंत में बीके शिवानी ने सभी श्रोताओं को राजयोग मेडिटेशन कराया। साथ ही 16 से 18 मार्च तक निशुल्क राजयोग मेडिटेशन सीखने के लिए स्थानीय ब्रह्माकुमारी सेंटर पर आने का निमंत्रण दिया। बीके शिवानी ने कहा, जहां से गीता दुनिया में फैली वहां से हो रामराज्य की शुरूआत। बीके शिवानी ने कहा कि हम दूसरों को सुख और शांति देने वाले और सबका कल्याण करने वाले बनें। कहा कि हमें हर हालात में खुश रहना चाहिए। ब्रह्मकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय की स्थानीय शाखा के लोग भी मौजूद रहे।

 

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