छह मई से शुरू होने वाली उत्तराखंड की चारधाम यात्रा में गैर हिंदुओं के प्रवेश पर प्रतिबंध लगाने की मांग जोर पकड़ने लगी है। शंकराचार्य परिषद और काली सेना की मांग पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने चारधाम यात्रा पर आने वाले यात्रियों के सत्यापन कराए जाने के फैसले को हरिद्वार के संतों ने सराहा है। संतों ने कहा कि चारधाम यात्रा हिंदुओं की आस्था से जुड़ी है। यात्रा में गैर हिंदुओं के प्रवेश पर सख्ती से प्रतिबंध लगाया जाए।
हरिद्वार में धर्म संसद के आयोजन के बाद सुर्खियों में आए स्वामी आनंद स्वरूप ने चारधाम यात्रा शुरू होने से पहले गैर हिंदुओं के यात्रा पर रोक लगाने की मांग उठाई। जिला प्रशासन के माध्यम से मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी को मांग पत्र भेजा। स्वामी आनंद स्वरूप के समर्थन में चारधामों के पुरोहित एवं संत समाज भी खड़ा हो गया। यात्रा के दौरान किसी तरह का कोई विवाद न हो, इसको लेकर शासन स्तर पर सख्त कदम उठाए जा रहे हैं। मंगलवार को मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के यात्रियों का सत्यापन कराए जाने की बयान से संतों में खुशी की लहर है।मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के चारधाम यात्रा पर गैर हिंदुओं की रोकथाम के लिए यात्रियों के सत्यापन का फैसला सराहनीय और स्वागत योग्य है। पुष्कर सिंह धामी हिंदुतत्व की रक्षा और संरक्षा के लिए काम करने वाले हैं। जो काम आज तक कांग्रेस नहीं कर पाई वह धामी सरकार करने जा रही है। काली सेना और परिषद के संत एवं पदाधिकारी भी यात्रा के दौरान रहेंगे। अपने धर्म स्थलों की सुरक्षा और संरक्षा के लिए संवैधानिक तरीके से यात्रियों का सत्यापन करेंगे, ताकि कोई गैर हिंदू या आतंकी प्रवेश न कर सके।
– स्वामी आनंद स्वरूप, अध्यक्ष शंकराचार्य परिषद
चारधाम यात्रा पर गैर हिंदुओं की रोकथाम के लिए यात्रियों के सत्यापन का फैसला बेहद सराहनीय और स्वागत योग्य है। चारधाम यात्रा हिंदुओं की आस्था से जुड़ी है। देश-विदेश से यात्रा पहुंचते हैं। भगवानपुर के डाडा जलालपुर और दिल्ली में हनुमान जयंती की शोभायात्रा में हुए हमलों से सीख लेना जरूरी है। गैर हिंदू जब मंदिर में सिर नहीं झुकाते हैं तो उनका वहां क्या काम है। यदि कोई गैर हिंदू जाता है तो उसका मकसद ठीक नहीं हो सकता है। मुख्यमंत्री के इस कदम से गैर हिंदुओं पर रोक लगेगी।
– श्रीमहंत रविंद्रपुरी, अध्यक्ष अखाड़ा परिषद एवं मनसा देवी ट्रस्ट
चारधाम हिंदुओं के पवित्र तीर्थ स्थल है। यहां पर गैर हिंदुओं का प्रवेश पूरी तरह से वर्जित होना चाहिए। जो इन धामों की उपासना नहीं कर सकता उसे यहां पर जाने का भी कोई अधिकार नहीं है
– यतींद्रानंद गिरि महामंडलेश्वर जूना अखाड़ा
चारधाम यात्रा में गैर हिंदुओं को बिल्कुल नहीं जाने देना चाहिए। इससे यात्रा पर जाने वाले यात्रियों की सुरक्षा खतरे में पड़ेगी और वहीं धाम में भी अपवित्रता आएगी। यात्रियों का सत्यापन कराने का फैसला स्वागत योग्य है।