अयोध्या। रामलला के भव्य मंदिर के साथ 20 हजार करोड़ रुपये से अयोध्या को भी भव्यता देने का खाका तैयार हो गया है। अयोध्या की आध्यात्मिक आभा को चमकाने के साथ-साथ न सिर्फ रामनगरी को आधुनिक पर्यटन सिटी के रूप में विकसित किए जाने की तैयारी है, बल्कि रोजगार व नौकरियों से भी रामनगरी लैस होगी।
अयोध्या विकास प्राधिकरण ने रामनगरी के सर्वांगीण विकास के लिए ली एसोसिएट के साथ मिलकर विजन डॉक्यूमेंट तैयार किया है। जिसका शनिवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के समक्ष प्रजेंटेशन दिया जाएगा। रामनगरी की पहचान उसकी पौराणिकता व आध्यात्मिकता है। इसको सुरक्षित रखते हुए इसके संवर्धन का भी प्लान तैयार हो रहा है।
अयोध्या में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए विभिन्न योजनाएं लाई जा रही हैं। यहां प्रवेश करते ही रामजन्मभूमि आने का एहसास हो इसके लिए भी कई बड़ी योजनाओं को क्रियान्यिवत करने की तैयारी है। इसी के तहत अयोध्या को वैदिक सिटी के रूप में विकसित किया जाएगा। जिसमें तीर्थ नगरी अयोध्या, हेरिटेज सिटी, सौर सिटी, समरस अयोध्या, स्मार्ट अयोध्या के विभिन्न-विभिन्न रूप दिखाई देंगे।
अयोध्या में राममंदिर बनने के बाद प्रतिदिन करीब एक लाख भक्तों आने का अनुमान है। इसको ध्यान में रखते हुए रामनगरी को संसाधन से लैस करने की योजना है। कुछ योजनाओं पर काम शुरू भी हो गया है। राममंदिर की ओर जाने वाले मार्गों के चौड़ीकरण की कवायद जोरों पर चल रही है। अयोध्या में राममंदिर पर आधारित छह प्रवेश द्वार भी बनाए जाने हैं, जो कि रामनगरी में त्रेतायुग का अहसास कराते प्रतीत होंगे।
वहीं श्रीराम हवाई अड्डा के लिए 79 प्रतिशत भूमि मिल चुकी है। जिस पर एटीआर 72 विमान का संचालन किया जा सकता है। इसके लिए सरयू तट का विकास व पर्यटन सुविधा केंद्र भी विकसित करने की तैयारी है। हालांकि शनिवार को पीएम मोदी के समक्ष विजन डॉक्यूमेेंट का प्रजेंटेशन होना है, इसके बाद यह तय होगा कि कौन-कौन सी योजना को धरातल पर उतारा जाना है।
पूरी उम्मीद है कि पीएम मोदी के स्वीकृति के बाद अयोध्या के विकास की योजनाएं तेजी से मूर्त रूप लेने के लिए आगे बढ़ेंगी। राममंदिर निर्माण के साथ भगवान श्रीराम की गरिमा के अनुकूल अयोध्या के विकास को लेकर भी सरकार प्रतिबद्ध है। अयोध्या में रहने वाले 5000 लोगों ने मिलकर डेवलपमेंट के प्लान के लिए अपने-अपने सुझाव दिए हैं।
रामनगरी के संतों सहित हर वर्ग के लोगों से रामनगरी के विकास के लिए सुझाव लिया गया है। इसके अलावा अलग-अलग देश और राज्यों से आए 500 टूरिस्ट का भी सुझाव लिया गया। सभी सुझाव को समझने के बाद अयोध्या डेवलपमेंट अथॉरिटी ने जिले के विकास का खाका तैयार कर लिया है। सब कुछ ठीक रहा तो चुनाव से पहले बहुत सारी योजनाएं धरातल पर उतरती नजर आएंगी।
इन योजनाओं को मिल चुकी है मंजूरी
– 10 हजार करोड़ रुपये की लागत से ग्रीन फील्ड सिटी योजना विकसित की जाएगी।
– 5000 करोड़ रुपये की लागत से मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान राम अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा बनना है। यह दूसरे चरण में विकसित किया जाएगा।
– 2000 करोड़ रुपये की लागत से सरयू तट पर करीब 13 किलोमीटर के क्षेत्र में विकास कार्य होना है।
– 2588 करोड़ रुपये की लागत से 65 किलोमीटर की रिंग रोड बनना है।
– 200 करोड़ से ब्लू रोड बननी है। पहले से जो रोड बनी है, उसे और विकसित किया जाएगा।
– 275 करोड़ रुपये की लागत से पर्यटन केंद्र बनेगा।
– 289 करोड़ रुपये से पंचकोसी परिक्रमा मार्ग तैयार होगा।
– 363 करोड़ रुपये से राम मंदिर से जुड़े मार्गों को विकसित किया जाएगा।
– 237 करोड़ रुपये से मल्टी नेशनल पार्क विकसित किया जाएगा।