चालदा महाराज के दोहा स्थित मंदिर से ग्राम कचटा प्रवास पर आने की तैयारी शुरू कर दी गई है। इस संबंध में कोरू खत के सदर स्याणा सुनील जोशी की अध्यक्षता में मंदिर समिति की बैठक आयोजित की गई। इसमें देवता के प्रवास पर आने की तैयारियों की कार्ययोजना तैयार की गई। मंदिर समिति ने कहा कि महाराज के आगमन पर मांस और मदिरा के सेवन पर पूर्णत: रोक रहेगी।
चालदा महासू महाराज 40 साल बाद गांव में प्रवास पर आ रहे हैं। अभी वह दोहा स्थित मंदिर में विराजमान हैं। एक साल बाद वह कचटा मंदिर में दो साल के प्रवास पर आएंगे। मंदिर समिति ने अभी से इसकी तैयारी शुरू कर दी है। सोमवार को श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए पार्किंग, रहने की व्यवस्था, विद्युत, पेजयल और भंडारे आदि के लिए विस्तृत कार्ययोजना बनाई गई। मंदिर समिति के अध्यक्ष सीताराम चौहान ने बताया कि महाराज के प्रवास के लिए बनाए जा रहे मंदिर का निर्माण पूरा हो चुका है। कहा कि बैठक में निर्णय लिया गया कि देवता के आगमन पर बलि प्रथा, मांस-मदिरा का सेवन नहीं होगा। यह पहला अवसर होगा जब देवता के आगमन पर बकरों की बलि नहीं दी जाएगी।