राज्य सरकार के ही बजट दस्तावेजों से रिपोर्ट में किए गया विश्लेषण बताता है कि 2021-22 तक राज्य सरकार पर 73,477.72 करोड़ रुपये का कर्ज था। कर्ज के दबाव को कम करने के लिए सरकार के सामने एक ही विकल्प है कि वह आय के दूसरे साधनों पर काम करे और खुद के संसाधनों से आय बढ़ाए।
विस्तार
उत्तराखंड राज्य पर अगले तीन साल में कर्ज का बोझ बढ़कर एक लाख करोड़ रुपये के पार पहुंच जाएगा। कर्मचारियों को वेतन और पेंशन पर खर्च के साथ विकास की रफ्तार को बनाए रखने के लिए कर्ज लेना आने वाले वर्षों में भी प्रदेश सरकार की मजबूरी रहेगी।
कर्ज के दबाव को कम करने के लिए सरकार के सामने एक ही विकल्प है कि वह आय के दूसरे साधनों पर काम करे और खुद के संसाधनों से आय बढ़ाए। साथ ही केंद्र सरकार से ज्यादा से ज्यादा अनुदान हासिल करने के लिए प्रयास करने होंगे। पांचवें राज्य वित्त आयोग ने अपनी रिपोर्ट में प्रदेश सरकार की वित्तीय स्थिति का जो अनुमान लगाया है, वह राज्य के नीति नियामकों के लिए चौकस रहने का एक संकेत है।
राज्य सरकार के ही बजट दस्तावेजों से रिपोर्ट में किए गया विश्लेषण बताता है कि 2021-22 तक राज्य सरकार पर 73,477.72 करोड़ रुपये का कर्ज था। अगले पांच वर्ष में अनुमान है कि राज्य सरकार अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए 54,496 करोड़ रुपये का और कर्ज ले सकती है।
रिपोर्ट के अनुसार, जीएसटी से अगले पांच साल में करीब 6720 करोड़ रुपये से 10574 करोड़ रुपये तक राजस्व प्राप्त होने का अनुमान लगाया गया है। जबकि इस अवधि में कर्ज का अनुमान प्रति वर्ष 8982 करोड़ से लेकर 12994 करोड़ रुपये है। यानी उत्तराखंड पर आने वाले तीन साल में ही एक लाख करोड़ के पार कर्ज हो जाएगा
कर्ज के दबाव को कम करने के लिए सरकार के सामने एक ही विकल्प है कि वह आय के दूसरे साधनों पर काम करे और खुद के संसाधनों से आय बढ़ाए। साथ ही केंद्र सरकार से ज्यादा से ज्यादा अनुदान हासिल करने के लिए प्रयास करने होंगे। पांचवें राज्य वित्त आयोग ने अपनी रिपोर्ट में प्रदेश सरकार की वित्तीय स्थिति का जो अनुमान लगाया है, वह राज्य के नीति नियामकों के लिए चौकस रहने का एक संकेत है।
राज्य सरकार के ही बजट दस्तावेजों से रिपोर्ट में किए गया विश्लेषण बताता है कि 2021-22 तक राज्य सरकार पर 73,477.72 करोड़ रुपये का कर्ज था। अगले पांच वर्ष में अनुमान है कि राज्य सरकार अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए 54,496 करोड़ रुपये का और कर्ज ले सकती है।
रिपोर्ट के अनुसार, जीएसटी से अगले पांच साल में करीब 6720 करोड़ रुपये से 10574 करोड़ रुपये तक राजस्व प्राप्त होने का अनुमान लगाया गया है। जबकि इस अवधि में कर्ज का अनुमान प्रति वर्ष 8982 करोड़ से लेकर 12994 करोड़ रुपये है। यानी उत्तराखंड पर आने वाले तीन साल में ही एक लाख करोड़ के पार कर्ज हो जाएगा
खर्च का आधा वेतन-पेंशन पर